अगर श्री गुरु तेग बहादुर जी शहीद ना होते तो आज मंदिरों में आरतियां भी न होतीं — भाई अमरजीत सिंह चावला

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भाई अमरजीत सिंह चावला बोले — गुरु तेग बहादुर जी की शहादत के कारण ही आज हर धर्म को पूजा का अधिकार मिला है, एसजीपीसी ने प्रभात फेरियां निकालीं।

आनंदपुर साहिब — श्री गुरु तेग बहादुर साहिब जी की 350वीं शहादत जयंती को समर्पित प्रभात फेरियों का आयोजन शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी (एसजीपीसी) की ओर से किया जा रहा है। रविवार को यह प्रभात फेरी किला होलगढ़ साहिब, अगमपुर, टप्परियां, गरा, गनारू, मजारा, लंग मजारी, चंडेसर, महरोली और मथुरा में पहुंची, जहां श्रद्धालुओं ने पूरे उत्साह से स्वागत किया।

इस मौके पर संगत को संबोधित करते हुए शिरोमणि कमेटी के सदस्य भाई अमरजीत सिंह चावला ने कहा कि अगर श्री गुरु तेग बहादुर साहिब जी ने शहादत न दी होती तो आज मंदिरों में आरतियां नहीं हो रही होतीं और न ही गुरुद्वारों में लाउडस्पीकर बज रहे होते। उन्होंने कहा कि औरंगजेब के शासनकाल में जब हिंदू धर्म के मंदिरों और शिवालयों को ढहाने के आदेश दिए जा रहे थे, तब गुरु तेग बहादुर जी ने अपनी कुर्बानी देकर धर्म और इंसानियत की रक्षा की। आज देश में हर व्यक्ति को अपने धर्म की पूजा करने का अधिकार है, यह गुरु साहिब की शहादत का ही परिणाम है।

इस अवसर पर तख्त श्री केसगढ़ साहिब के हेड ग्रंथी ज्ञानी जोगिंदर सिंह, सुरिंदर सिंह मटौर, बाबा मलकीत सिंह, प्रिंसिपल निरंजन सिंह, अमरजीत सिंह, सरपंच तेगवीर सिंह, प्रधान कुलवंत सिंह टप्परियां, हरमिंदर सिंह, अजमेर सिंह, मास्टर अमृतपाल, सरपंच सुरजीत सिंह, प्रधान गुरबख्श सिंह, थाना प्रभारी सुखदेव सिंह, नरेंद्र सिंह मावी सहित अनेक गणमान्य लोग उपस्थित रहे।

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Author: Vivek Singh

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